पायलट (Pilot) कैसे बने ?
पायलट (PILOT) के प्रकार
पायलट (Pilot) बनना एक बहुत ही सम्मान की नौकरी होती है, जहां पर युवा वर्ग आगे बढ़ते हुए पायलट बनने के लिए बेहतर विकल्प की तलाश करते हैं। ऐसे में आज हम आपको पायलट बनने के तरीकों के बारे में बताने वाले हैं—
चार्टर पायलट
चार्टर पायलट (Pilot) वह होता है जो किसी विशेष प्रकार के यात्रियों के लिए प्लेन उड़ाना चाहता है। इसके माध्यम से निजी कंपनी को संचालित किया जाता है और फिर एयरलाइन के लिए काम किया जाता है। ऐसे में कई विशिष्ट लोगों के द्वारा चार्टर पायलटों की नियुक्ति की जाती है, कई बार ऐसे पायलटों के माध्यम से भी प्लेन उड़ा कर दूसरे जगह तक पहुंचा जा सकता है।
Airline pilot एयर लाइन पायलट
यह ऐसे पायलट (Pilot) होते हैं जो आज के समय में कई प्रकार के लोग बनना चाहते हैं। एयरलाइन पायलट ऐसे पायलट होते हैं जो अधिक दूरी पर यात्रियों को एक निश्चित दूरी पर ले जाने का काम करते हैं। इनकी ड्यूटी कभी- कभी 6 से 8 घंटे की भी हो सकती है। इसके माध्यम से पूरी दुनिया को घुमा जा सकता है साथ ही साथ एक नई उड़ान भी तय की जाती है ताकि आप आगे बढ़ सके।
कारपोरेट पायलट
यह वह पायलट (Pilot) होते हैं जो मुख्य रूप से निजी व्यक्तियों के लिए प्लेन उड़ाने का काम करते हैं साथ-साथ अधिकारियों की बैठकों के लिए विशेष रूप से सहायता प्रदान करते हैं । ऐसे में इन सभी पायलटों का मुख्य रूप से योगदान माना जाता है।
पायलट (Pilot) बनने के लिए विशेष योग्यता
- अगर आप एक अच्छे पायलट बनना चाहते हैं तो आपके पास कुछ विशेष योग्यताओं का होना आवश्यक है ताकि आप आसानी के साथ अपने कार्य को अंजाम दे सकें।
- पायलट बनने के लिए ट्वेल्थ पास होना आवश्यक है जिसमें मुख्य रुप से फिजिक्स केमिस्ट्री और मैथ सब्जेक्ट होना अनिवार्य माना गया है।
- इसके अलावा 12वीं कक्षा में कम से कम 50% अंक आना आवश्यक होता है।
- विशेष रुप से पायलट बनने के लिए हाइट होना आवश्यक है जो कम से कम 5 फीट होनी ही चाहिए।
- इसके अलावा आपकी आंखों का विजन बिल्कुल सही होना चाहिए ताकि परीक्षा पास कर सकें।
पायलट (Pilot) बनने में लगने वाला समय
अगर आप पायलट बनने जैसी ड्रीम जॉब करना चाहते हैं तो इसके लिए आपको सबसे पहले डायरेक्टरेट जनरल आफ सिविल एवं गवर्नमेंट ऑफ इंडिया द्वारा मान्यता प्राप्त लाइसेंस क्लब में एडमिशन लेना होगा और इसके बाद कुछ ही दिनों में आपको स्टूडेंट पायलट लाइसेंस के लिए अप्लाई करना होगा।
उसके बाद आप पायलट (Pilot) बनने के लिए आयोजित होने वाली प्रवेश परीक्षा में बैठ कर उसे पास कर सकते हैं। जैसे ही आप परीक्षा पास कर लेते हैं उसके कुछ दिनों बाद ही आपकी ट्रेनिंग शुरू होती है और इस तरीके से आपको पायलट बनने में कम से कम 2 से 3 वर्ष का समय लग जाता है जिसमें आपको काफी कुछ सीखने को मिलता है साथ ही साथ कौशल क्षमता का विकास होता है।
पायलट (Pilot) बनने के लिए विशेष क्षमता
- अगर आप पायलट बनने की तैयारी कर रहे हैं तो इसके लिए आपको उन सभी चरणों को पूरा करना होगा जिसके मद्देनजर आप एक अच्छे पायलट बन सकते हैं। ऐसे में कुछ मुख्य क्षमताओं का होना आवश्यक है।
- सबसे पहले अगर आप पायलट (Pilot) बनना चाहते हैं तो आपको भारत का नागरिक होना आवश्यक है।
- अगर आप एयर फोर्स पायलट बनना चाहते हैं तो इसके लिए आपकी आयु 17 साल से 24 वर्ष होनी चाहिए।
- पायलट बनने के लिए आंखों का सही वजन होना जरूरी है जो 6/6 होना आवश्यक है इसके अलावा उन्हें कलर ब्लाइंडनेस की बीमारी नहीं होना चाहिए।
- इसके अलावा पायलट बनने के लिए किसी प्रकार की गंभीर बीमारी नहीं होना चाहिए।
- पायलट बनने के लिए अंग्रेजी में अच्छी पकड़ होना आवश्यक है तभी आपका चयन हो सकता है।
- भारत में ऐसे टाप के कॉलेज उपलब्ध है जहां पर आप पायलट की पढ़ाई पूरी कर सकते हैं साथ ही साथ अच्छे भविष्य की ओर जा सकते हैं।
- भारत गांधी राष्ट्रीय उर्ण अकादेमी रायबरेली ( IGRUA)
- ओरियंट फ्लाइट स्कूल, पांडिचेरी |
- चीम्स एविएशन अकादमी, मध्य प्रदेश |
- कारवार एविएशन अकादमी, महाराष्ट्र |
- राजीव गांधी अकैडमी फॉर एवियशन, टेक्नोलॉजी |
- हरियाणा इंस्टीट्यूट ऑफ सिविल एविएशन ( HICA)
भारत में पायलट (Pilot) बनने के लिए टॉप के कॉलेज |
कमर्शियल पायलट (Pilot) बनने का तरीका
- अगर आप एक अच्छे कमर्शियल पायलट बनना चाहते हैं तो इसके लिए आपको कुछ मुख्य चरणों को अपनाना होगा जिसके बाद ही आप सही तरीके से आगे बढ़ सकते हैं।
- अगर आप कमर्शियल पायलट बनना चाहते हैं तो आपको बारहवीं कक्षा के बाद ही स्टूडेंट पायलट लाइसेंस लेना होता है जो एक पायलट बनने के लिए आवश्यक होता है।
- इस लाइसेंस का उपयोग आप एंट्रेंस एग्जाम में कर सकते हैं जिसके माध्यम से लाइसेंस को पाने के बाद प्लेन उड़ने में आजादी मिल जाती है ।
- इसके बाद आपको बीएससी कंप्लीट करना होगा ताकि आप डायरेक्टरेट जनरल ऑफ सिविल एविएशन की परीक्षा दे सकें और फिर आपको पायलट की ट्रेनिंग दी जाती है।
- जब भी आप एंट्रेंस एग्जाम देते हैं तो उसके अंतर्गत मेडिकल एग्जामिनेशन और इंटरव्यू होता है जिसके तहत आपका सिलेक्शन हो सकता है।
- जब ट्रेनिंग दी जाती है उस दौरान स्टूडेंट पायलट लाइसेंस और प्राइवेट प्राइवेट लाइसेंस के लिए आवेदन करना पड़ता है और इसके बाद भी ट्रेनिंग शुरू हो जाती है।
- ट्रेनिंग पूरी हो जाने के बाद आपको कमर्शियल पायलट बनने के लिए कमर्शियल पायलट लाइसेंस के लिए आवेदन करना होता है और फिर आप के मुख्य रूप से मेडिकल टेस्ट करने के बाद ही आप कमर्शियल पायलट बन सकते हैं जिसमें आपको सफल होना आवश्यक है।
- इन सारी प्रक्रिया को करने के बाद ही आप इंडिगो, एयरलाइन, एयर इंडिया, जेट एयरवेज जैसी प्राइवेट कंपनी या सरकारी कंपनी में अपना कमर्शियल पायलट का काम शुरू कर सकते हैं।
पायलट (Pilot) बनने के लिए होने वाला खर्चा
अगर आप एक अच्छे पायलट (Pilot) बनना चाहते हैं और किसी अच्छे इंस्टिट्यूट से पढ़ाई करते हैं ऐसे में आप को कम से कम 10 लाख से 15 लाख रुपए का खर्च आता है जो कहीं ना कहीं पूरे पायलट बनने के दौरान खर्च होता है और उसके बाद ही आप सही तरीके से पायलट बन कर अपने उड़ान को प्राप्त कर सकते हैं।
पायलट (Pilot) बनने के बाद करियर
अगर आपने अपने पायलट की ट्रेनिंग पूरी करनी हो तो उसके बाद आपको बहुत ही जल्द पायलट बनने के लिए लाइसेंस मिल जाता है और फिर आप अपने काम की शुरुआत कर सकते हैं। शुरुआती समय में आपको को पायलट (co pilot) के रूप में जिम्मेदारी मिलती है लेकिन धीरे-धीरे आप पायलट के सफर तक भी पहुंच सकते हैं।
अगर आप चाहे तो कमर्शियल पायलट बन कर भी मिलिट्री या पैरा मिलिट्री सर्विस के एलिजिबल हो सकते हैं और उसके बाद आप अपनी जिम्मेदारी पूरी कर सकते हैं जिसके बाद करियर भी बहुत बेहतरीन होता है और फिर आप नई नई उड़ानों को प्राप्त कर सकते हैं।
एक पायलट (Pilot) की मुख्य जिम्मेदारियां
- एक पायलट बनना बहुत ही जिम्मेदारी का काम होता है ऐसे में पायलट बनते हुए कई सारी जिम्मेदारियों को निभाया जाता है जो हमेशा साथ रहती है। ऐसे मेंआज हम आपको पायलट की कुछ मुख्य जिम्मेदारियों से अवगत कराना चाहते हैं।
- पायलट को हमेशा प्लेन उड़ाते समय सही तरीके से वक्त का ध्यान रखना होता है इसके अलावा प्लेन की सभी टेक्निकल सुविधाओं के बारे में भी उचित जानकारी रखना होता है।
- पायलट की मुख्य जिम्मेदारी मेट्रोलॉजिकल सूचनाओं को इकट्ठा करते हुए एक डाटा भी तैयार करना होता है ताकि उन के बारे में पूरी जानकारी दी जा सके।
- पायलट को हमेशा पोस्ट फ्लाइट रिपोर्ट तैयार करने की जिम्मेदारी निभानी पड़ती है ताकि किसी प्रकार की समस्या से पहले ही निपटा जा सके।
- जब भी उड़ान भरी जाती है तो पूरी सतर्कता से उड़ान भरी जाती है ताकि बीच में ही कोई समस्या ना हो।
- कभी-कभी प्लेन उड़ाते समय खराब मौसम का भी सामना करना पड़ता है। ऐसे में निश्चित रूप से ही उस समय तुरंत फैसला लेने की जिम्मेदारी निभानी होती है और यात्रियों को सुरक्षित रखना होता है।
- पायलटों का काम बहुत ही दबाव भरा होता है जहां उन्हें बिना आराम किए रहना पड़ता है ऐसे में मानसिक रूप से खुद को स्वस्थ रखने की जिम्मेदारी एक पायलट की ही होती है।
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